
Multapi Samachar
पटना। कोरोना की त्रासदी के बीच देश के कई हिस्सों से मानवता को शर्मसार करने वाले और इंसानियत को झकझोर कर देने वाले किस्से सामने आ रहे हैं। दर्द का मंजर भी कुछ ऐसा है कि हर किसी का दिल पसीज जाए। देश में इस समय सबसे ज्यादा खराब हालत प्रवासी मजदूरों की है, जो हालात के हाथों का खिलौना बनकर रह गए हैं। हाथों का काम छीन चुका है और पेट भरने के लिए उनको काफी मशक्कत करना पड़ रही है। ऐसे में एक दिल दहलाने वाला वाकिया मुजफ्फरपुर से आया है, जहां मां की स्टेशन पर मुश्किल हालात में मौत हो गई, वहीं पास में मासूम अपनी मां की मौत से अनजान उसके कफन से खेल रही थी।
लंबे सफर की तकलिफों से तोड़ा दम
मृतक महिला प्रवासी कामगार परिवार से थी और वह सोमवार को प्रवासियों के चलाई गई स्पेशल ट्रेन से मुजफ्फरपुर आई थी, लेकिन भयानक गर्मी को वह सहन नहीं कर पाई यातनादायक सफर से उसने दम तोड़ दिया। महिला के परिजनों के मुताबिक ट्रेन में खाने -पीने का अभाव और गर्मी होने की वजह से वह बीमार हो गई थी। मृतक महिला गुजरात से आई थी। जब मृतका के शरीर को स्टेशन पर रखा गया तो अपनी मां की मौत से अनजान मासूम मां के शव पर डाले गए कफन से खेलने लगी और उसको हटाने की कोशिश करने लगी।
स्टेशन पर जिसने भी इस दर्दनाक मंजर को देखा उसका दिल पसीज गया। इसी ट्रेन में एक और मासूम ने गर्मी और भूख-प्यास की वजह से दम तोड़ दिया। गौरतलब है लंबे समय से चले आ रहे लॉकडाउन की वजह से देशभर में फैले हुए प्रवासी मजदूरों के सब्र का बांध टूट चुका है। वे हर हाल में अपने घर पहुंचना चाहते हैं। इनमें से ज्यादातर बिहार और उत्तर प्रदेश से संबंध रखते हैं। सरकार ने सख्त नियमों के साथ देशभर के प्रवासी मजदूरों को घर भेजने की व्यवस्था की है। इसके लिए बसें और रेलों को चलाया गया है, लेकिन समुचित व्यवस्था न होने की वजह से मुसाफिरों का काफी तकलिफों का सामना करना पड़ रहा है।